TOP

ई - पेपर Subscribe Now!

ePaper
Subscribe Now!

Download
Android Mobile App

Daily Business Newspaper | A Knowledge Powerhouse in Hindi

10-06-2025

इंडिया में एफडीआई में पिछले वित्त वर्ष में महाराष्ट्र, कर्नाटक का योगदान 51% रहा : सरकार

  •  पिछले वित्त वर्ष (2024-25) के दौरान देश में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) प्रवाह में महाराष्ट्र और कर्नाटक का योगदान 51 प्रतिशत था। उद्योग और आंतरिक व्यापार संवर्धन विभाग (डीपीआईआईटी) के नवीनतम आंकड़ों में यह जानकारी दी गई। महाराष्ट्र ने अप्रैल-मार्च 2024-25 के दौरान अधिकतम 19.6 अरब डॉलर का विदेशी प्रवाह आकर्षित किया और देश के कुल एफडीआई का 31 प्रतिशत हिस्सा रहा। आंकड़ों के अनुसार, पिछले वित्त वर्ष के दौरान कर्नाटक को 6.62 अरब डॉलर का विदेशी निवेश प्राप्त हुआ।  इन दो राज्यों के बाद दिल्ली (छह अरब डॉलर), गुजरात (5.71 अरब डॉलर), तमिलनाडु (3.68 अरब डॉलर), हरियाणा (3.14 अरब डॉलर) और तेलंगाना (तीन अरब डॉलर) का स्थान रहा। विशेषज्ञों के अनुसार, महाराष्ट्र और कर्नाटक में अधिकतम निवेश का मुख्य कारण बुनियादी ढांचे में पर्याप्त सुधार है। एक अर्थशास्त्री ने कहा कि बुनियादी ढांचे में काफी सुधार हुआ है और यही कारण है कि भारत में एफडीआई के लिए ये आकर्षक गंतव्य बन रहे हैं। पिछले वित्त वर्ष के दौरान कुल एफडीआई, जिसमें इक्विटी प्रवाह, पुनर्निवेशित आय और अन्य पूंजी शामिल है, 14 प्रतिशत बढक़र 81.04 अरब डॉलर हो गया। यह पिछले तीन वर्षों में सबसे अधिक है। वित्त वर्ष 2023-24 में यह 71.3 अरब डॉलर रहा।

Share
इंडिया में एफडीआई में पिछले वित्त वर्ष में महाराष्ट्र, कर्नाटक का योगदान 51% रहा : सरकार

 पिछले वित्त वर्ष (2024-25) के दौरान देश में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) प्रवाह में महाराष्ट्र और कर्नाटक का योगदान 51 प्रतिशत था। उद्योग और आंतरिक व्यापार संवर्धन विभाग (डीपीआईआईटी) के नवीनतम आंकड़ों में यह जानकारी दी गई। महाराष्ट्र ने अप्रैल-मार्च 2024-25 के दौरान अधिकतम 19.6 अरब डॉलर का विदेशी प्रवाह आकर्षित किया और देश के कुल एफडीआई का 31 प्रतिशत हिस्सा रहा। आंकड़ों के अनुसार, पिछले वित्त वर्ष के दौरान कर्नाटक को 6.62 अरब डॉलर का विदेशी निवेश प्राप्त हुआ।  इन दो राज्यों के बाद दिल्ली (छह अरब डॉलर), गुजरात (5.71 अरब डॉलर), तमिलनाडु (3.68 अरब डॉलर), हरियाणा (3.14 अरब डॉलर) और तेलंगाना (तीन अरब डॉलर) का स्थान रहा। विशेषज्ञों के अनुसार, महाराष्ट्र और कर्नाटक में अधिकतम निवेश का मुख्य कारण बुनियादी ढांचे में पर्याप्त सुधार है। एक अर्थशास्त्री ने कहा कि बुनियादी ढांचे में काफी सुधार हुआ है और यही कारण है कि भारत में एफडीआई के लिए ये आकर्षक गंतव्य बन रहे हैं। पिछले वित्त वर्ष के दौरान कुल एफडीआई, जिसमें इक्विटी प्रवाह, पुनर्निवेशित आय और अन्य पूंजी शामिल है, 14 प्रतिशत बढक़र 81.04 अरब डॉलर हो गया। यह पिछले तीन वर्षों में सबसे अधिक है। वित्त वर्ष 2023-24 में यह 71.3 अरब डॉलर रहा।


Label

PREMIUM

CONNECT WITH US

X
Login
X

Login

X

Click here to make payment and subscribe
X

Please subscribe to view this section.

X

Please become paid subscriber to read complete news