भारत में नारियल उत्पादन के प्रमुख प्रदेश केरल, तमिलनाडु, कर्नाटक और आंध्र प्रदेश में इस बार उत्पादन में कमी आने से रक्षाबंधन पर नारियल के भावों में 30 से 35 प्रतिशत का उछाल देखने में आया है। इसका सीधा प्रभाव रक्षा बंधन पर नारियल की मांग में गिरावट देखने को आ रही है। आमतौर पर रक्षाबंधन के एक पखवाड़ा पहले से बाजार में नारियल के ढेर दिखाई देने लगते थे लेकिन नारियल की फसल के प्रभावित होने से बाजार में आवक भी कमजोर दिखाई दे रही है। इस बार नारियल के भावों में तेजी के चलते त्योहारों पर नारियल की मांग कमजोर दिखाई दे रही है। कुछ समय पूर्व बाजार में नारियल की एक बोरी 2100 और 2200 के आस पास बोल रहे थे, लेकिन माल की आवक कमजोर हाने से बाजार में बड़ा उछाल देखने को मिल रहा है। आज के भाव 3500 से 3600 रु पये प्रति बोरी के भाव है। यहां नारियल के बड़े कारोबारियां का कहना है कि दक्षिण भारत में नारियल का उत्पादन कम होने से माल की आवक कमजोर है। नारियल के भावों में तेजी आने से यहां खुले बाजार में 20 से 25 रुपये में मिलने वाले नारियल के भाव 35 से 40 रुपया प्रति नग हो गए हैं। नारियल के भावों आई तेजी का असर ग्रामीण बाजार में सबसे अधिक दिखाई दे रहा है। गांवों में नारियल देवी-देवताओं के चढ़ाने के काम में लिया जाता है, लेकिन भाव अधिक होने से मांग घट गई है। नारियल के भावों में आई तेजी के असर से खोपरा बुरादा के भाव 300 रुपये से बढ़ कर 400 और 450 रुपये प्रति किलो हो गए हैं।