पर्यटन मंत्रालय 2026 से 2030 तक के लिए एक पांच वर्षीय कार्य योजना तैयार कर रहा है, जिसे अन्य प्रमुख भागीदारों के साथ मिलकर लागू किया जाएगा। इस योजना का उद्देश्य अतुलनीय भारत ब्रांड में बड़े बदलाव करना है, ताकि देशी और विदेशी दोनों ही पर्यटकों को बेहतर अनुभव मिल सके। केंद्रीय पर्यटन सचिव वी. विद्यावती ने अपने मंत्रालय के लिए तैयार की गई योजना के बारे में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि मंत्रालय विदेशी यात्रियों को आकर्षित करने के लिए देश-विशिष्ट रणनीतियों पर भी काम कर रहा है। हम सभी के लिए एक जैसा दृष्टिकोण नहीं अपना सकते। उन्होंने उद्योग जगत से हर प्रयास में एक सह-भागीदार बनने का आग्रह किया। केंद्रीय पर्यटन सचिव ने यह प्रस्तुति प्रमुख होटलों उद्योग के दिग्गजों और पर्यटन व्यवसाय से जुड़े प्रतिनिधियों के समक्ष दी। देश को वैश्विक पर्यटन स्थल बनाने के लिए भारत ने 2047 तक तीन हजार अरब डॉलर की पर्यटन अर्थव्यवस्था का महत्वाकांक्षी लक्ष्य रखा है। पर्यटन मंत्रालय वर्ष 2026 से 2030 के लिए एक पांच साल की योजना बना रहा है। इस योजना को मंत्रालय, सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों, भारत सरकार के मंत्रालयों, विदेशों में भारतीय दूतावासों, पर्यटन उद्योग और भारतीय नागरिकों के साथ मिलकर लागू किया जाएगा। उन्होंने कहा कि हम मंत्रालय में इस समय पर्यटन व्यापार योजना पर काम कर रहे हैं। इसका मतलब है कि भारत सरकार, राज्य सरकारें, स्थानीय प्रशासन, पर्यटन से जुड़ी कंपनियां और हम सभी मिलकर यह सोचें कि पर्यटकों को बेहतर अनुभव कैसे दिया जाए और उनकी यात्रा को ज्यादा उपयोगी कैसे बनाया जाए।