भारत में 40 प्रतिशत से अधिक डॉक्टर अपने कामकाज में कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) तकनीकों का उपयोग कर रहे हैं और पिछले वर्ष की तुलना में इसमें तीन गुना वृद्धि हुई है। एक रिपोर्ट में यह अनुमान जताया गया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि पिछले साल 12 प्रतिशत डॉक्टर एआई का इस्तेमाल कर रहे थे।  नीदरलैंड की वैज्ञानिक और प्रौद्योगिकी से जुड़ी संस्था एल्सेवियर की रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि भारत में एआई के इस्तेमाल की दर वैश्विक औसत 48 प्रतिशत से अधिक है और भारत अमेरिका (36 प्रतिशत) तथा ब्रिटेन (34 प्रतिशत) से आगे है। भारत में एल्सेवियर हेल्थ के अध्यक्ष शंकर कौल ने कहा, भारत के डॉक्टर एआई को अपनाने में उल्लेखनीय तेजी और उत्साह दिखा रहे हैं। क्लिनिशियन आफ द फ्यूचर 2025 रिपोर्ट के लेखकों ने लिखा है, भारत में 41 प्रतिशत डॉक्टरों ने कामकाज में एआई का उपयोग किया है, जो पिछले वर्ष के 12 प्रतिशत के आंकड़े से तीन गुना अधिक है। रिपोर्ट के अनुसार, हालांकि, देश में एआई अपनाने की दर चीन (71 प्रतिशत) और एशिया प्रशांत क्षेत्र (56 प्रतिशत) से पीछे है। इस सर्वेक्षण में यूरोपीय, उत्तरी अमेरिकी और लैटिन अमेरिकी देशों समेत 109 देशों के लगभग 2,200 डॉक्टरों का सर्वेक्षण किया गया, जिनमें से लगभग 275 डॉक्टर भारत के थे।