एयरपोटर््स पर लाउंज सर्विसेज प्रदान करने वाली कंपनी ड्रीमफॉक्स लि. के शेयरों में एकतरफा गिरावट देखने को मिल रही है। सोमवार को कंपनी के शेयरों में लगातार 5 वें दिन गिरावट दर्ज की गई व बीएसई पर यह 177.60 रुपये का नया रिकॉर्ड लेवल छूने के बाद कारोबारी दिन के अंत में 6.18 प्रतिशत की गिरावट के साथ 179 रुपये पर बंद हुए। पिछले 5 कारोबारी दिनों में ही कंपनी के शेयर 25 प्रतिशत नीचे उतर चुके हैं। असल में कंपनी के बिजनस सेगमेंट में अडाणी व जीएमआर जेसे एयरपोर्ट ऑपरेटर्स उतरने की योजना बना रहे हैं। कंपिटिशन बढऩे की आशंकाओं के बीच म्यूचुअल फंड्स भी कंपनी में अपनी होल्डिंग बेच रहे हैं। उपलब्ध डाटा के अनुसार पिछले सप्ताह शुक्रवार को मोतीलाल ओसवाल म्यूचुअल फंड व बजाज फाइनेंस ने कंपनी में अपनी होल्डिंग में से कुछ शेयर बेचे हैं। मोतीलाल ओसवाल म्यूचुअल फंड ने जहां 2.7 लाख शेयर (0.5' होल्डिंग) 211.4 रुपये की एवरेज प्राइस पर बेचे वहीं बजाज फाइनेंस ने 3.09 लाख शेयर (0.58' होल्डिंग) 196.32 रुपये की एवरेज प्राइस पर बेचे। 31 मार्च 2025 को कंपनी में मोतीलाल ओसवाल म्यूचुअल फंड की 7.11 प्रतिशत होल्डिंग थी। कंपनी में और किसी भी म्यूचुअल फंड का एक्सपोजर नहीं है। कंपनी में 1.14 लाख छोटे रिटेल इंवेस्टरों के पास 20.65 प्रतिशत होल्डिंग है। ऐसे में ड्रीमफॉक्स लि. के शेयरों में आ रही गिरावट प्रमुख रूप से रिटेल इंवेस्टरों के लिए एक ‘बुरे सपने’ के समान साबित हो रही है। हाल ही में आई रिपोटर््स के मुताबिक आईसीआईसीआई बैंक, एक्सिस बैंक व मास्टरकार्ड जैसे ब्रांड्स अब ड्रीमफॉक्स के साथ डील करने की जगह एयरपोर्ट ओपरेटर्स द्वारा ओपरेटेड लाउंज के साथ सीधे एग्रीमेंट करने की योजना बना रहे हैं। इससे कंपनी की रेवेन्यू में सर्वाधिक कंट्रीब्यूट करने वाले एयरपोर्ट लाउंज बिजनस पर ही खतरा मंडराने लगा है। ड्रीमफॉक्स की एमडी ने हाल ही में डिस्क्लोज किया था कि कंपिटिटर क्लाइंट्स पर कंपनी के साथ हो रखे कांट्रेक्ट्स से बाहर निकलने का दबाव डाल रहे हैं। उल्लेखनीय है कि चालू वर्ष में अब तक ड्रीमफॉक्स के शेयरों में 55 प्रतिशत की गिरावट आ चुकी है।