ग्रामीण इलाकों में जागरूकता की कमी के चलते महिलाओं और बच्चों में कुपोषण की समस्या बढ़ती जा रही है। इस समस्या का समाधान करने और प्रारंभिक बाल विकास को सशक्त बनाने के उद्देश्य से वेदांता की प्रमुख सीएसआर पहल नंद घर ने जॉन स्नो इंक (जेएसआई) और रॉकेट लर्निंग के साथ रणनीतिक साझेदारी की है। यह पहल प्रोजेक्ट बालवर्धन के अंतर्गत की गई है, जिसे अनिल अग्रवाल फाउंडेशन द्वारा शुरू किया गया है। इसका उद्देश्य बच्चों में कुपोषण को कम करना और आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं की क्षमता को बढ़ाना है। इस साझेदारी प्रोजेक्ट बालवर्धन के तहत की गई है, जिसके माध्यम से धौलपुर जिले की 800 से अधिक आंगनवाडय़िों को अत्याधुनिक नंद घर केंद्रों में बदला जाएगा। यह परिवर्तन 80,000 से अधिक बच्चों, 14,000 महिलाओं और कुल मिलाकर 1 लाख से अधिक लोगों के जीवन को प्रभावित करेगा। यह परियोजना महिला एवं बाल विकास मंत्री दीया कुमारी के मार्गदर्शन में संचालित हो रही है।