एग्रो केमिकल उद्योग का चालू वित्त वर्ष में रेवेन्यू 6-7 प्रतिशत बढऩे का अनुमान है। वैश्विक मांग में सुधार और पहले के बचे माल के सामान्य स्तर पर होने से रेवेन्यू बढऩे का अनुमान है। रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है। क्रिसिल रेटिंग्स की रिपोर्ट में कहा गया है कि वैश्विक स्तर पर बेहतर एग्री आउटलुक से चालू वित्त वर्ष में एक्सपोर्ट रेवेन्यू 8-9 प्रतिशत बढ़ जाएगी, लेकिन घरेलू मांग में ज्यादा बारिश से फसल को नुकसान, उत्पाद की वापसी और खेत तैयार होने में देरी का खतरा रहेगा। क्रिसिल रेटिंग्स के वरिष्ठ निदेशक, अनुज सेठी ने कहा, ‘‘दो साल के बड़े समायोजन के बाद प्राप्ति का स्तर स्थिर होने के साथ, 6-7 प्रतिशत की कुल ग्रोथ रेट परिदृश्य के वेल्यू बेस्ड होने के बजाय वोल्यूम बेस्ड अधिक होना बना हुआ है।’’ रिपोर्ट में कहा गया है कि भारतीय एग्रो केमिकल उद्योग की रेवेन्यू चालू वित्त वर्ष में 6-7 प्रतिशत बढ़ेगी, जिसे वैश्विक मांग में सही समय पर सुधार और पहले का बचा माल के सामान्य होने से समर्थन मिलेगा, ठीक वैसे ही जैसे लंबे मॉनसून की वजह से घरेलू उठाव धीमा हुआ है, जिससे खरीफ मौसम की बिक्री पर असर पड़ा। रिपोर्ट में कहा गया है कि अगले वित्त वर्ष में इस उद्योग का 8-10 प्रतिशत की दीर्घावधिक वृद्धि दर के दायरे में वापस आना, काफी कुछ निर्यात की रफ्तार बनाए रखने और घरेलू मांग बढऩे पर निर्भर करता है। इस उद्योग की रेवेन्यू में घरेलू और निर्यात बाजार दोनों का लगभग 50 प्रतिशत हिस्सा है।