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Daily Business Newspaper | A Knowledge Powerhouse in Hindi

09-07-2025

Asston Pharma का : इंवेस्ट करने से पहले गौर करें इन Risk Factors पर

  •  एस्सटन फार्मा लि. का 27.56 करोड़ रुपये का एसएमई आईपीओ सब्सक्रिप्शन के लिए 9 जुलाई से 11 जुलाई के बीच ओपन रहेगा। इसके तहत कंपनी 10 रुपये फेस वेल्यू वाले शेयरों को 115-123 रुपये के प्राइस-बेंड पर इश्यू कर 27.56 करोड़ रुपये जुटाना चाहती है जिसमें से 6 करोड़ रुपये का यूज कैपेक्स के लिए, 13 करोड़ रुपये वर्किंग कैपिटल के लिए व 1 करोड़ रुपये का यूज डेब्ट रीपेमेंट के लिए किया जाएगा। हालांकि इस एसएमई आईपीओ में इंवेस्ट करने से पहले इंवेस्टरों को कुछ क्रद्बह्यद्म स्नड्डष्ह्लशह्म्ह्य पर गौर कर लेना चाहिए। एस्सटन फार्मा लि. प्रमुख रूप से हैल्थकेयर प्रोडक्ट्स के एक्सपोर्ट के एरिया में एक्टिव है। कंपनी के फाइनेंशियल परफोर्मेंस पर नजर डालें तो 2023-24 में कंपनी ने क्रमश: 8.5 प्रतिशत का नेट मार्जिन प्रॉफिट रिपोर्ट किया था जो 2024-25 में बढक़र 17 प्रतिशत पहुंच गया। कंपनी ने 2023-24 में जहां 15.84 करोड़ रुपये की रेवेन्यू पर 1.36 करोड़ रुपये का नेट प्रॉफिट रिपोर्ट किया वहीं 2024-25 में कंपनी की रेवेन्यू 62 प्रतिशत बढक़र 25.61 करोड़ रुपये जबकि नेट प्रॉफिट 218 प्रतिशत बढक़र 4.33 करोड़ रुपये दर्ज किया गया। चिंताजनक रूप से 31 मार्च 2024 को 16.15 करोड़ रुपये के मुकाबले कंपनी के ष्ठद्गड्ढह्लशह्म्ह्य 31 मार्च 2025 को 24.5 करोड़ रुपये हो गए। यानि 2023-24 के मुकाबले 2024-25 में कंपनी की सेल्स जितनी बढ़ी है लगभग उतने ही कंपनी के ष्ठद्गड्ढह्लशह्म्ह्य भी बढ़े हैं। यही कारण है कि कंपनी को बड़े स्तर पर वर्किंग कैपिटल की आवश्यकता पड़ती है। 2024-25 में कंपनी की सेल्स में एक्सपोर्ट्स का शेयर 87 प्रतिशत रहा। कंपनी प्रमुख रूप से 2 अफ्रीकी देशों को एक्सपोर्ट करती है। फार्मा एक्सपोर्ट बिजनस में होने के बावजूद कंपनी को 250 दिनों का के्रडिट पीरियड कस्टमर्स को ऑफर करना पड़ता है जो कंपनी के प्रोडक्ट्स की कमजोर मार्केट पोजिशनिंग का इंडिकेशन है। कंपनी की एक ग्रुप कंपनी एरियंट साइंटिफिक प्रा. लि. के खिलाफ पूर्व में बैंकरप्ट्सी एप्लीकेशन दायर की गई थी जिसके बाद कानूनी रूप से उसे लिक्विडेट कर दिया गया था। कंपनी के आईपीओ वेल्यूएशन को देखें तो 2024-25 में 25.6 करोड़ रुपये की सेल्स पर कंपनी 105 करोड़ रुपये के मार्केट कैप का वेल्यूएशन मांग रही है जो 4 गुना से भी अधिक के रू्यञ्ज ष्टड्डश्च ञ्जश स्ड्डद्यद्गह्य मल्टीपल को दर्शाता है। भारी वर्किंग कैपिटल आवश्यकता, लंबा क्रेडिट पीरियड देने व 2024-25 में एकाएक प्रॉफिट मार्जिनों में आई बढ़त की सस्टेनेबिलिटी पर प्रश्नचिन्ह वाली किसी कंपनी के लिहाज से यह वेल्यूएशन अनरीजनेबल कहे जा सकते हैं। कंपनी ने अपने आईपीओ के लिए नई दिल्ली बेस्ड सौभाग्य कैपिटल ऑप्शंस लि. को मर्चेंट बैंकर अपॉइंट किया है।

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Asston Pharma का : इंवेस्ट करने से पहले गौर करें इन Risk Factors पर

 एस्सटन फार्मा लि. का 27.56 करोड़ रुपये का एसएमई आईपीओ सब्सक्रिप्शन के लिए 9 जुलाई से 11 जुलाई के बीच ओपन रहेगा। इसके तहत कंपनी 10 रुपये फेस वेल्यू वाले शेयरों को 115-123 रुपये के प्राइस-बेंड पर इश्यू कर 27.56 करोड़ रुपये जुटाना चाहती है जिसमें से 6 करोड़ रुपये का यूज कैपेक्स के लिए, 13 करोड़ रुपये वर्किंग कैपिटल के लिए व 1 करोड़ रुपये का यूज डेब्ट रीपेमेंट के लिए किया जाएगा। हालांकि इस एसएमई आईपीओ में इंवेस्ट करने से पहले इंवेस्टरों को कुछ क्रद्बह्यद्म स्नड्डष्ह्लशह्म्ह्य पर गौर कर लेना चाहिए। एस्सटन फार्मा लि. प्रमुख रूप से हैल्थकेयर प्रोडक्ट्स के एक्सपोर्ट के एरिया में एक्टिव है। कंपनी के फाइनेंशियल परफोर्मेंस पर नजर डालें तो 2023-24 में कंपनी ने क्रमश: 8.5 प्रतिशत का नेट मार्जिन प्रॉफिट रिपोर्ट किया था जो 2024-25 में बढक़र 17 प्रतिशत पहुंच गया। कंपनी ने 2023-24 में जहां 15.84 करोड़ रुपये की रेवेन्यू पर 1.36 करोड़ रुपये का नेट प्रॉफिट रिपोर्ट किया वहीं 2024-25 में कंपनी की रेवेन्यू 62 प्रतिशत बढक़र 25.61 करोड़ रुपये जबकि नेट प्रॉफिट 218 प्रतिशत बढक़र 4.33 करोड़ रुपये दर्ज किया गया। चिंताजनक रूप से 31 मार्च 2024 को 16.15 करोड़ रुपये के मुकाबले कंपनी के ष्ठद्गड्ढह्लशह्म्ह्य 31 मार्च 2025 को 24.5 करोड़ रुपये हो गए। यानि 2023-24 के मुकाबले 2024-25 में कंपनी की सेल्स जितनी बढ़ी है लगभग उतने ही कंपनी के ष्ठद्गड्ढह्लशह्म्ह्य भी बढ़े हैं। यही कारण है कि कंपनी को बड़े स्तर पर वर्किंग कैपिटल की आवश्यकता पड़ती है। 2024-25 में कंपनी की सेल्स में एक्सपोर्ट्स का शेयर 87 प्रतिशत रहा। कंपनी प्रमुख रूप से 2 अफ्रीकी देशों को एक्सपोर्ट करती है। फार्मा एक्सपोर्ट बिजनस में होने के बावजूद कंपनी को 250 दिनों का के्रडिट पीरियड कस्टमर्स को ऑफर करना पड़ता है जो कंपनी के प्रोडक्ट्स की कमजोर मार्केट पोजिशनिंग का इंडिकेशन है। कंपनी की एक ग्रुप कंपनी एरियंट साइंटिफिक प्रा. लि. के खिलाफ पूर्व में बैंकरप्ट्सी एप्लीकेशन दायर की गई थी जिसके बाद कानूनी रूप से उसे लिक्विडेट कर दिया गया था। कंपनी के आईपीओ वेल्यूएशन को देखें तो 2024-25 में 25.6 करोड़ रुपये की सेल्स पर कंपनी 105 करोड़ रुपये के मार्केट कैप का वेल्यूएशन मांग रही है जो 4 गुना से भी अधिक के रू्यञ्ज ष्टड्डश्च ञ्जश स्ड्डद्यद्गह्य मल्टीपल को दर्शाता है। भारी वर्किंग कैपिटल आवश्यकता, लंबा क्रेडिट पीरियड देने व 2024-25 में एकाएक प्रॉफिट मार्जिनों में आई बढ़त की सस्टेनेबिलिटी पर प्रश्नचिन्ह वाली किसी कंपनी के लिहाज से यह वेल्यूएशन अनरीजनेबल कहे जा सकते हैं। कंपनी ने अपने आईपीओ के लिए नई दिल्ली बेस्ड सौभाग्य कैपिटल ऑप्शंस लि. को मर्चेंट बैंकर अपॉइंट किया है।


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