वर्ष के फस्र्ट हाफ में एडवरटाइजिंग एक्टीविटी स्लो रही लेकिन अगस्त से सुधार आया है। जीएसटी कट और फेस्टीवल सीजन जल्दी शुरू हो जाने से एडवरटाइजर्स ने फेस्टिव कैम्पेन को जल्दी शुरू कर दिया है। जलाई-अगस्त के बीच फूड एंड बेवेरेजेज सेक्टर में सबसे ज्यादा एड फ्रीक्वेंसी देखने को मिली। करीब 11 प्रतिशत की ग्रोथ रही, ऑटो सेक्टर ने 66 प्रतिशत की ग्रोथ प्रदर्शित की। टैम मीडिया द्वारा शेयर किये गये डेटा के अनुसार एड फ्रीक्वेंसी के मामले में ये दो सेक्टर आगे रहे। इसके अलावा टैक्सटाइल्स/क्लोथिंग में भी 85 प्रतिशत ग्रोथ रही है। यही नहीं टेलीकॉम/इंटरनेट सर्विस प्रोवाइडर्स ने तीस गुना ग्रोथ विटनैस की और टॉप टेन सेक्टर्स में शामिल हुए। टैम मीडिया ने एडेक्स रिपोर्ट में बताया कि वर्ष का फस्र्ट हाफ टेलीविजन पर एड वॉल्यूम के मामले में दस प्रतिशत ड्रॉप पर रहा। ऑपरेशन सिंदूर, आईपीएल के दौरान एडवरटाइजिंग स्पेंडिंग स्लो रही। अगस्त में अपस्टिक देखने को मिली है। सेक्टर एक्सपर्ट्स के अनुसार नवरात्रा और दिवाली सीजन के लिये अब मार्केट स्पीड पकड़ेगा और एडवरटाइजर्स का रुझान भी बढ़ेगा। इस बार दिवाली करीब एक पखवाड़े जल्दी है, तो मार्केट में हलचल जल्दी बढ़ रही है। मानसून सीजन इस बार सामान्य से बेहतर रहा है और इसका लाभ रुरल मार्केट से भी देखने को मिल सकता है। एडवरटाइजिंग प्लानिंग रूरल मार्केट को भी टारगेट करते हुए आगे बढ़ेगी। मिडिल क्लास के लिये अनेक प्रोडक्ट्स पर जीएसटी रेट में कटौती का असर भी इस बार सीजन के लिये पॉजिटिव रहने की सम्भावना है। कई कैटेगरीज इसीलिये जल्दी और तेजी के साथ एक्टिव हो रही है। प्राइस कम होने के कारण कन्ज्यूमर्स का फ्लो बढऩे की उम्मीद सभी को है। उनके अनुसार इस बार पॉलिटिकल कारणों से वर्ष के प्रथम नौ माह एडवरटाइजिंग बाधित नहीं हुई। गत वर्ष जनरल इलेक्शंस के कारण गर्मियों के महिने प्रभावित रहे थे। ब्राण्ड स्टे्रटजिस्ट के अनुसार बिग टीवी इवेंट्स जैसे कौन बनेगा करोड़पति, सास भी कभी बहु थी सीजन 2, इन्डिया-इंग्लैंड सीरीज ने एड फ्रीक्वेंसी को जम्प दिया है। पापूलर टीवी स्टार स्मृति इरानी का फिर से स्मॉल स्क्रीन पर आना, सकारात्मक रहा है। फस्र्ट हाफ बेशक स्लो रहा हो लेकिन अब एड वॉल्यूम बढ़ रहे हैं।